लखनऊ (ऊँ टाइम्स) बाराबंकी में शुक्रवार रात एसटीएफ से मुठभेड़ में मारा गया एक लाख का इनामी अपराधी टिंकू कपाला लखनऊ पुलिस के लिए चुनौती बना हुआ था। टिंकू कपाला पर हत्या, लूट, डकैती, जानलेवा हमले और आम्र्स एक्ट समेत 22 मुकदमे राजधानी के अलग-अलग थानों में दर्ज हैं। लखनऊ के कृष्णानगर में आरके ज्वैलर्स के यहां टिंकू कपाला ने अपने साथियों संग मिलकर दो लोगों की हत्या कर डकैती डाली थी। घटना के बाद उस पर एक लाख रुपये का इनाम घोषित किया गया था।.
टिंकू कपाला दिलराग बारादरी निवाजगंज, थाना चौक का निवासी था। लखनऊ पुलिस लंबे समय से टिंकू की तलाश कर रही थी। वह लंबे समय तक चौक में करबला के पास किराये का एक कमरा लेकर छिपा था। पुलिस को चकमा देने के लिए वह कमरे में बाहर से ताला लगा देता था। कई बार पुलिस उसके घर के बाहर गई, लेकिन दरवाजे पर ताला देखकर लौट आई। आरके ज्वैलर्स के यहां डकैती के बाद जब पुलिस ने छानबीन की तो पता चला कि टिंकू पुलिस को गुमराह करने के लिए ऐसा करता था। टिंकू हर रोज घर का खाना ही खाता था। रात के समय उसकी मां या परिवार का कोई सदस्य टिफिन लेकर उसे खिड़की से दे जाते थे। काफी समय तक टिंकू किराये के कमरे में ही रहा, लेकिन पुलिस को भनक नहीं लगी। वह नाम और पता बदलकर अलग-अलग ठिकानों पर रहता था। टिंकू ने कुछ साल पहले वृंदावन योजना के सेक्टर 10 में और मोहनलालगंज में किराये का फ्लैट लिया था तथा लंबे समय तक वहां छिपकर रह रहा था।
इन इन घटनाओं में आया था टिंकू का नाम– अक्टूबर 2014 में टिंकू कपाला ने साथियों संग मिलकर पुणे के हडब्सर स्थित लोनी गृह प्राइवेट लिमिटेड ज्वैलर्स के यहां एक करोड़ की लूट की थी। इसके बाद गोरेगांव पार्क में दिसंबर 2014 में पीएमजे जेम्स ज्वैलर्स के यहां पांच करोड़ की लूट की। वहीं, जून 2015 में गुजरात के बड़ौदा में कल्याण ज्वैलर्स के यहां टिंकू कपाला ने अन्य साथियों के साथ मिलकर 60 लाख की लूट की थी। इस दौरान टिंकू कपाला उर्फ कमल किशोर श्रीवास्तव को गुजरात पुलिस ने गिरफ्तार भी किया था। यही नहीं, नेपाल के धनगढ़ी में फरवरी और मार्च 2017 में सोना लूट में भी टिंकू का नाम सामने आया था।